खुशगवार से चेहरे

ना उड़ाओ हँसी मौत की भरी महफ़िल में यारों, ये खुशगवार से चेहरे, ना जाने कितने करीबी हैं। ~रबी [ Do not make fun of death in front of everyone, friends, You never know these happy faces might be so close to it. ] ## Just saying we never know what the other person might be suffering from. So gotta be careful about saying something that may offend them. ##

May 2, 2017  · #361

मोहल्ला

जान देके भी मुकम्मल कहाँ रबी। इंतेक़ाल पे भी मोहल्ला गिला करता है, जनाजे की इतिल्ला पहले से ना थी। ~रबी [ What’s the use of even giving life, When even after death the society is going to crib, they should have been informed earlier about the funeral. ] ## Society is Society. No point in crying about it. ##

April 11, 2017  · #360

थोड़ी जगह

ना बिछाओ इतने गलीचे, ना रखो इतनी कुर्सियां मेरे आँगन में। थोड़ी जगह मुझे घर में प्यार का गुलिस्ताँ उगाने को भी चाहिए। ~रबी [ Do not put so many carpets and chairs in my lawn, I want to grow a little bit of love in the house. ]

March 26, 2017  · #359

मायशा

कहने को तो जिस चिराग से उजेरा था, कहने को तो उसी चिराग तले अँधेरा था। जिससे उम्मीद लगाए बैठे थे हम दोनों ही, कहने को तो ना वो तेरा ना मेरा था। सुनी है मुसाफिरों से अफवाह ये उड़ते-उड़ते, वो मायशा दिखी थी उन्हें शायद कहीं चलते-चलते, जो चहक के कभी आँगन में उड़ आती थी, उस चिड़िया का अब कहीं और ही बसेरा था। चल पड़ें या यूँ ही बैठे रहे उसके इंतज़ार में, जो छोड़ गया मुझे बे-रस्ता अपने ऐतबार पे। गम-ए-हिज़्र ना कर रबी, बस ये रात निकल जाने दे, पिछली मर्तबा स्याह रात के बाद ही हसीं सवेरा था। ...

December 13, 2016  · #355

आप-बीती

मैं कौन था, अब क्या हो गया हूँ। अपने अक्स में अक्सर, अतीत ढूंढता हूँ। एक आह है अंदर घुटी सी, एक चाह दिल में कुछ दबी सी। चला जा रहा हूँ कहाँ, मुझको जाना है कहाँ, कहाँ छोड़ आये तुम मुझे, ये ज़िन्दगी देके, खुदखुशी सी। कहते हैं वो कुछ लोग, मैं बदल गया हूँ। कुछ कागज़ी टुकड़ो पे, रूह बेच उठा हूँ। वो ना समझेंगे कभी, आलम -ए -दिल -ए-बेताबियाँ मेरी। करें किस्से फ़रियाद मगर, करें कैसे फ़रियाद मगर, रुस्वा रहती है अब जो, मुझसे मेरी शायरी भी। ...

December 11, 2016  · #354

फ़रियाद

क्यों बैठा रहे कि आके मेरी कोई फ़रियाद सुने, कभी देखा है किसी फरियादी की कोई फ़रियाद सुने ? ये ज़माना बहुत मतलबी हो चला है रबी, खुद करना है कर गुज़र, भूलकर की मेरी कोई फ़रियाद सुने। ~रबी [ Why do you keep waiting that someone will come and listen to you? Have you ever seen someone getting heard nowadays? This world has become so self-centred Rabi, Just do it, if you want to, rather than waiting for someone to help you do it. ] ...

August 5, 2015  · #326

मैं फिर भी ठीक हूँ

ज़िन्दगी ऐसा लगता है ठहर सी गयी गई है, मैं आगे निकल गया वो पीछे कहीं रह गयी है , बहुत कोशिश की, कि ज़िन्दगी से मुलाकात तो हो, पर ज़िन्दगी तो लगता है जैसे मर सी गयी है। इश्तेहार दिया, ज़िन्दगी जहां भी हो लौट आओ, पर ज़िन्दगी है की ना ज़िंदा ना मुर्दा मिलती है। पर मैं फिर भी ठीक हूँ। ऐसा नहीं है की मैं हँसता नहीं हूँ, ऐसा नहीं है की मैं खुश रहता नहीं हूँ, रोज सुबह ज़िंदा उठता तो मैं अब भी हूँ, रोज अपने आप से ही हार जाना दुखता तो है, फिर भी हर शाम खुद से लड़ता तो मैं अब भी हूँ, खुद से नाराज, रब से नाराज, सब से नाराज हूँ। पर मैं फिर भी ठीक हूँ। ...

October 4, 2014  · #254

बदनामी

हम तो फिरते थे छुप छुप के बदनामी के डर से, और बदनामी है कि हमसे ज्यादा मशहूर हो गई। ~रबी [ I used to remain obscure, to avoid infamy, But look! My infamy has become more popular than me. ]

February 10, 2014  · #154

May be I am not your enemy

Strip me - not just of my clothes, My skin, my flesh, my bones. Look straight into my bare soul, Is it not mirror image of your own? Then what makes you think I am, Any different than who you are? Look closer and you will find, My conscience bears the same invisible scars. Yes, may be the journeys are different, Our destinations are all the same, Stop wearing these shades of prejudiced ignorance, May be I am not your enemy, may be… a friend. ...

October 3, 2013  · #139

चार पल

चार पल की ज़िन्दगी मिली थी उधार की, एक पल गलती करने, दूजी दोहराने में गुज़ार दी , दो आखरी लम्हें जो बचे भी मुश्किल से , उन्हें हमने अफ़सोस करने में बेकार की। ~रबी [ We only got four moments to be alive, We spent one to make mistakes, the other one to repeat, And when only 2 more moments were left in our life, We wasted them to regret the mistakes we made. ] ...

May 16, 2013  · #130