मन होता है

तेरी आगोश में सोने को मन होता है, तुझसे लिपट कर कुछ कहने को मन होता है, तेरी आँखों में आँखें डाल कर, तेरी उँगलियों में उंगलियां कसा कर, तुझे गौर से देखने को मन होता है। जो सीने में मेरे जल रही है अर्सों से, वो आग तुझसे भिगोने को मन होता है, लगता है गरम चाशनी सा, तेरा बदन छूने को मन होता है। तेरे होटों से निकली उजली भाप में, आँखें सेंक लेने को मन होता है। ...

October 7, 2014  · #257

मोहब्बत

मैंने कहा खुदा से तूने सबको दी , थोड़ी मोहब्बत मेरे हिस्से भी लिख दे। खुदा ने कहा तू बदनसीब है रबी , मोहब्बत तेरे मुकद्दर में नहीं। लोग चोट खाते हैं अक्सर इश्क में, तुझे इश्क ही चोट देता रहेगा। मत चाहना किसी को, भूल कर भी , जिसे चाहेगा, वो तुझसे दूर ही रहेगा। न कर मोहब्बत किसी से, वर्ना समझ ले , मोहब्बत तेरे पास तो रहेगी, पर तुझे कभी मिल न सकेगी। ...

October 2, 2014  · #253

सांस एक आखिरी

जब रह जायेगी सांस एक आखिरी, आधी तुझे दूंगा, आधी खुद रख लूंगा, डर लगे तुझे सोते हुए तो, नींद अपनी भी दे दिया करूँगा। मुश्किलें आएँगी तो हाथ पकड़ लेना, हर मुश्किलों से मेहफ़ूज़ तुझे रखूँगा। ढूंढना नहीं पड़ेगा कभी, जब जब पलकें उठेंगी, तेरे सामने ही मिलूंगा। चाहे खुद को गिरवी रख सही, तेरी हर ख्वाइश मैं पूरी करूँगा। बस न जाना छोड़ कर, सच कहता हूँ इस बार, तुझे तुझसे छीन लूंगा , नोच डालूँगा तुझे हर कतरा कतरा, या मार ही दूंगा, या खुद मर मिटूँगा। ...

September 21, 2014  · #249

एक इश्क़

ऐ इश्क़ ये कैसा तेरा इश्क़, क्यों घाव दिया यूँ गहरा इश्क़, मेरा तो इश्क़ ही मंदिर-मस्जिद था, अब कैसे कहूँ तू मेरा इश्क़। [ ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ऐ इश्क़। ] एक इश्क़ वो था जो तूने मुझसे किया, एक इश्क़ वो था जो मैं कर बैठा। एक इश्क़ ही था जिससे जीना सीखा, एक इश्क़ ही था जिससे मर बैठा। एक इश्क़ ने बनाया तिनका तिनका, एक इश्क़ ही सब तबाह कर बैठा। ...

July 25, 2014  · #229

इश्क़

इश्क़ में अक्सर ऐसा होता है, कई राधा मीरा हो जाती हैं। ~रबी [ It usually happens in love, A lot of Radhas (lovers) become Meeras (devotees). ] ## Some say they have heard this line somewhere. If that’s true please do tell and I will remove this one from the blog. I believe in ‘stealing’ ideas but not plagiarism. ##

May 18, 2014  · #188

नफ़रत

वो करती थी प्यार से प्यार और नफ़रत से नफ़रत कभी, आज उसे प्यार से नफ़रत और नफ़रत से प्यार हो गया। वो जो समझाया करता था, ना कर किसी से इतना प्यार पगली, वो खुद किसी की नफ़रत का शिकार हो गया। ~रबी [ She used to love the Love and hate the Hatred, Today she hates the Love and is in love with Hatred, And he who used to advise her, don’t love anyone so much idiot, He himself became a victim of someone’s hatred. ] ...

April 2, 2014  · #169

बरबादियाँ

मैं क्या प्यार करूँगा तुझे, जो मुझे खुद से इश्क़ नहीं , मैं क्या दे पाउँगा तुझे, जो मेरे पास खुद के लिए कुछ नहीं , आना है तो आ, नयी बरबादियाँ दिखाऊं तुझे, या पूछ ले जाके उनसे, जो तुझसे पहले तबाह हुए, वो आज तक खुश नहीं। ~रबी [ How will I love you, when I don’t love myself, What will I give you, when I don’t have anything for self, If you still come in life, let me show you the new limits of disaster, Or go ask others, who got destroyed before you, they are still not happy with themselves. ] ...

March 1, 2014  · #162

Moments Left Behind

Agreed it hurts a lot, to have loved and lost, But only when you lose do you discover, How much love were you capable of. Yes it would have been much easier, To not have loved in the first place, But then you wouldn’t have a story to tell, I am afraid, you wouldn’t have lived at all. Only those can truly love, Who have the courage to live without. They can take away your object of affection, The moments left behind, still count. ...

May 22, 2013  · #131

अनकही बात

एक बात थी कहने को, जो अरमान बन रह गयी। दिल से तो निकली थी उफ़न के, पर ज़ुबान बंद रह गयी। तुझको पाया तो औरों की क्या कहें, खुद अपने हाथों की लकीरें दंग रह गयीं। कुछ इस कदर हारे हम तेरी आदतों से, मेरी हर अदा तेरी शोख़ियों के आगे कम रह गयी। मगर… ख़बर मिली रुख़सत होने की तेरी मुझे जब, लहू की बूँदें रगों में जम रह गयीं। ...

August 13, 2012  · #86

When You Came In Thoughts...

You know I have never met you I tell you, it really sucks But then, I think it gives me a leverage And it’s not bad as such. I can think of you, the hell way I want to, And there is nothing you can do about it, until you come and stop me to do. And it may seem like a joke, but I am not joking, it is true, Whoever are you, I think of you, does it really matter, that I haven’t, like ever, met thou? ...

July 8, 2012  · #76